राजनीति
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पार्षदों के टकराव के बीच अभी दिल्ली का कोई मेयर नहीं, अगली तारीख का इंतज़ार

शुक्रवार को दिल्ली को नया मेयर (महापौर) मिलने वाला था, लेकिन हंगामे और नारेबाजी के चलते सदन अगली तारीख तक स्थगित कर दिया गया है। अभी तय नहीं हो पाया है कि अब चुनाव कब होगा। उपराज्यपाल नई तारीख की घोषणा करेंगे।
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आम आदमी पार्टी (आप) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बीच आज झड़प के कारण दिल्ली मेयर चुनाव को रोक दिया गया। पार्षदों ने नवनिर्वाचित नागरिक निकाय की पहली बैठक में जमकर हंगामा किया और एक दूसरे के खिलाफ नारेबाजी की।
इसके बाद दिल्ली नगर निगम (MCD) की बैठक समाप्त हो गई और अगली सूचना तक चुनाव स्थगित कर दिया गया।
दरअसल उपराज्यपाल (एलजी) विनय कुमार सक्सेना द्वारा नियुक्त अस्थायी अध्यक्ष सत्या शर्मा द्वारा सदन के मनोनीत सदस्यों को शपथ दिलाने पर विरोध शुरू हो गया। जैसे ही शर्मा ने एक सदस्य को शपथ लेने के लिए आमंत्रित किया, आप विधायक और पार्षद विरोध जताते हुए सदन के बीचों बीच आ गए। आप के सदस्य मनोनीत सदस्यों से पहले निर्वाचित पार्षदों को शपथ दिलाने की मांग को लेकर नारेबाजी करने लगे।
इससे पहले आप ने उपराज्यपाल द्वारा दिल्ली सरकार से परामर्श किए बिना 10 मनोनीत एमसीडी सदस्यों के नाम पर आपत्ति जताई थी।
भाजपा ने दावा किया कि वह मेयर का पद जीतेगी और आप को अपने ही पार्षदों पर भरोसा नहीं। विदित है कि मेयर के चुनाव में 250 चुने हुए पार्षद वोट करेंगे। साथ ही दिल्ली के सात लोकसभा सांसद, तीन राज्यसभा सांसद और मनोनीत लोगों में 14 विधायक, जो दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष की सहमति पर बनाए गए हैं, वे भी मतदान में हिस्सा लेंगे। सभी को मिलाकर इस चुनाव में 274 लोग वोट डाल सकेंगे।
बता दें कि एमसीडी के 250 वार्डों में दिसंबर 2022 में हुए चुनाव में आम आदमी पार्टी को 134 सीट में जीत दर्ज की थी जबकि भारतीय जनता पार्टी को 104 सीटों पर विजय प्राप्त हुई थी। कांग्रेस के नौ पार्षद विजय हुए हैं हालांकि कांग्रेस ने इस चुनाव में हिस्सा नहीं लेने का ऐलान किया है।
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