यह आश्वासन भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर और उनके ईरानी समकक्ष अमीर अब्दुल्लाहियन के बीच बातचीत के बाद आया, जब जयशंकर ने फोन कॉल के दौरान मालवाहक जहाज MSC एरीज़ के भारतीय चालक दल के सदस्यों की रिहाई का मुद्दा उठाया था।
"हम जब्त किए गए जहाज के विवरण पर नज़र रख रहे हैं और जल्द ही भारत सरकार के प्रतिनिधियों के लिए उक्त जहाज के चालक दल से मिलना संभव होगा," ईरानी विदेश मंत्रालय ने अमीर-अब्दुल्लाहियन के हवाले से कहा।
दरअसल शनिवार को संयुक्त अरब अमीरात (UAE) के तट से लगभग 80 किमी दूर ईरान की इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC) की एक विशेष बल इकाई द्वारा जहाज को जब्त किए जाने के कुछ घंटों बाद भारतीय अधिकारियों ने कहा था कि वे जहाज के 25 सदस्यीय चालक दल में से 17 भारतीय नागरिकों की सुरक्षा और शीघ्र रिहाई सुनिश्चित करने के लिए अपने ईरानी समकक्षों के संपर्क में हैं।
"आज शाम ईरानी विदेश मंत्री अब्दुल्लाहियन से बात की। MSC एरीज़ के 17 भारतीय चालक दल के सदस्यों की रिहाई और क्षेत्र की वर्तमान स्थिति पर चर्चा की। तनाव बढ़ने से बचने, संयम बरतने और कूटनीति की ओर लौटने के महत्व पर जोर दिया। संपर्क में बने रहने पर सहमति व्यक्त की,'' जयशंकर ने रविवार को एक्स पर एक पोस्ट में कहा।
गौरतलब है कि सीरिया में ईरान के वाणिज्य दूतावास पर इज़राइली हमले के कुछ सप्ताह बाद ईरान ने इज़राइल पर सैकड़ों ड्रोन और मिसाइलें दागकर आत्मरक्षा अधिकार के तहत जवाबी कार्रवाई की।
इस बीच भारत ने सभी पक्षों से तत्काल तनाव कम करने का आह्वान किया है और क्षेत्र में अपने दूतावासों को वहाँ भारतीय समुदाय के साथ निकट संपर्क में रहने के लिए सतर्क किया है।
"इज़राइल और ईरान के बीच बढ़ती शत्रुता से भारत गंभीर रूप से चिंतित है, जिससे क्षेत्र में शांति और सुरक्षा को खतरा है। हम तत्काल तनाव कम करने, संयम बरतने, हिंसा से पीछे हटने और कूटनीति के रास्ते पर लौटने का आह्वान करते हैं," विदेश मंत्रालय ने कहा।