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सीबीआई ने शराब नीति मामले में दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया से की पूछताछ

© AP Photo / Gurinder OsanIn this Sunday, Jan. 16, 2011 photo, wine glasses stand in the foreground of a group learning wine appreciation and fine dining, being conducted by Tulleeho Beverage Innovations at a restaurant in New Delhi, India.
In this Sunday, Jan. 16, 2011 photo, wine glasses stand in the foreground of a group learning wine appreciation and fine dining, being conducted by Tulleeho Beverage Innovations at a restaurant in New Delhi, India. - Sputnik भारत, 1920, 26.02.2023
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भारतीय संघीय जांच एजेंसियां दिल्ली सरकार द्वारा 2021 में लागू की गई और अब खत्म की गई शराब नीति बनाते और चलाते समय वित्तीय अव्यवस्था की जांच कर रही हैं।
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया रविवार को शराब नीति मामले से संबंधित पूछताछ के लिए केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के मुख्य दफ्तर में पहुंचे।
सीबीआई के मुख्य दफ्तर में पहुंचने से पहले सिसोदिया ने दिल्ली के राजघाट में महात्मा गांधी के स्मारक का दौरा किया था और फिर भाषण दिया था जिसके दौरान सैकड़ों आप समर्थकों ने उनका समर्थन करते हुए नारे लगाए थे।

सिसोदिया ने हिन्दी में कहा, “मैं जेल चला जाऊं तो अफ़सोस मत करना, गर्व करना। ये झूठे केस और जेल भेजने की साज़िशें इसलिए हो रही हैं क्योंकि मोदी जी को केजरीवाल जी और आप से डर लगता है। आज जब ये मुझे जेल भेज रहे हैं, मेरी पत्नी घर पर अकेली है। आपको ध्यान रखना है। मुझे स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों से बहुत प्यार है। मैं उनसे कहना चाहता हूँ कि आप दिल लगाकर पढ़ना, देश का भविष्य आप पर निर्भर है।“

इसके साथ आप के कई राजनेताओं ने दावा किया कि उन्हें घर में नजरबंद कर दिया गया है।

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने रविवार को ट्वीट किया, "भगवान आपके साथ है मनीष। लाखों बच्चों और उनके पेरेंट्स की दुआयें आपके साथ हैं। जब आप देश और समाज के लिए जेल जाते हैं तो जेल जाना दूषण नहीं, भूषण होता है। प्रभू से कामना करता हूँ कि आप जल्द जेल से लौटें। दिल्ली के बच्चे, पैरेंट्स और हम सब आपका इंतज़ार करेंगे।"

भारी सुरक्षा तैनात

सिसोदिया के घर, दिल्ली में आप के दफ्तर और सीबीआई के मुख्य दफ्तर के बाहर भारी सुरक्षा तैनात की गई थी।
मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, पुलिस ने सीबीआई के मुख्य दफ्तर की ओर जाने वाली सभी सड़कों को बंद करके और भारी बैरिकेडिंग बनाकर दफ्तर के पास दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 144 लगायी।
धारा 144 के तहत किसी इलाके में चार से ज्यादा लोग जमा नहीं हो सकते हैं।

शराब नीति मामला क्या है?

नई शराब नीति नवंबर 2021 में आम आदमी पार्टी की सत्ताधारी दिल्ली सरकार द्वारा लागू की गई थी, जिसके तहत राष्ट्रीय राजधानी में 800 नई शराब दुकानों को खोलने की योजना थी।
निजी कारोबार के मालिकों को लाइसेंस दिए गए। सरकार ने ऐसे कानून पेश किए जिन्होंने निजी व्यापारियों के लिए शराब बेचने का लाइसेंस प्राप्त करना आसान बनाया।
अन्य नियमों में होम डिलीवरी और छूटों से संबंधित नियम थे और शराब की दुकानों को रात के 3 बजे तक खुले रहने की अनुमति दी गई थी ।

हालाँकि, जल्द ही विपक्ष यानी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने दावा किया कि दिल्ली के आबकारी विभाग के प्रमुख मनीष सिसोदिया ने नियमों को तोड़कर लाइसेंस धारकों को अनुचित लाभ प्रदान किया था।

दिल्ली के उपराज्यपाल ने सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय सहित केंद्रीय एजेंसियों को जांच करने का आदेश दिया।
दोनों केंद्रीय एजेंसियों ने पूरे भारत में रैड करके दावा किया कि शराब लॉबी ने आम आदमी पार्टी (आप) को कम से कम एक अरब रुपये का भुगतान किया था।
प्रवर्तन निदेशालय ने यह भी दावा किया कि नई नीति के कारण सरकार को 28 अरब रुपये का नुकसान हुआ। एजेंसी ने नौ लोगों को गिरफ्तार किया, जिनमें सांसद मगुनता श्रीनिवासुलु रेड्डी के बेटे मगुन्टा राघव रेड्डी यानी शराब का उत्पादन करने वाले कारखानों के मालिक भी शामिल हैं। एजेंसी ने सिसोदिया को भी इस मामले में आरोपी बताया ।
लेकिन आप ने कई बार सभी आरोपों से इनकार करके कहा कि यह केस झूठा है।
केजरीवाल ने पहले कहा था, "शराब घोटाले जैसी कोई चीज नहीं होती है। हमने देश की सबसे अच्छी और सबसे पारदर्शी नीति बनाई थी।"
जुलाई 2022 में दिल्ली सरकार ने नई शराब नीति को खत्म कर दिया।
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