अगर यूक्रेन नाटो सदस्य बनेगा तो रूस दृढ़ता से जवाब देगा, क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने सोमवार को कहा।
उन्होंने यह भी कहा कि कीव शासन नाटो देशों पर एकजुटता दिखाने के लिए दबाव डालने की कोशिश कर रहा है और कि यूक्रेन के नाटो में शामिल होने से यूरोप की सुरक्षा वास्तुकला पर बहुत ही नकारात्मक परिणाम होंगे।
इसके साथ दिमित्री पेसकोव ने अज़ोव* नेताओं को तुर्की से यूक्रेन में स्थानांतरित करने के बारे में जताया। उनके अनुसार, रूस इस स्थिति को समझौतों का उल्लंघन मानता है और उसको तुर्की से स्पष्टीकरण प्राप्त होने की उम्मीद है।
इसके अलावा क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने बताया कि सशस्त्र विद्रोह के प्रयास के पांच दिन बाद व्लादिमीर पुतिन ने क्रेमलिन में प्रिगोझिन से मुलाकात की।
उनके अनुसार, बैठक लगभग तीन घंटे तक चली, इसमें वैगनर समूह की टुकड़ियों के कमांडरों सहित कुल 35 लोग शामिल थे। राष्ट्रपति ने उस स्थिति पर अपनी राय जताई और वैगनर प्रतिनिधियों को रोजगार के विकल्प की पेशकश की। कमांडरों ने पुतिन से कहा कि वे उनके समर्थक हैं और रूस के लिए लड़ाई जारी रखने के लिए तैयार हैं।
24 जून की रात को, वैगनर ग्रुप ने रोस्तोव-ऑन-डॉन में दक्षिणी सैन्य जिले के मुख्यालय पर कब्जा कर लिया था। यह येवगेनी प्रिगोझिन के उन बयानों के बाद हुआ था कि रूसी सशस्त्र बलों ने कथित तौर पर वैगनर शिविरों पर मिसाइल हमले किए थे, हालांकि रूसी रक्षा मंत्रालय और संघीय सुरक्षा सेवा दोनों ने इसका खंडन किया था।
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ समझौते के तहत बेलारूस के राष्ट्रपति अलेक्जेंडर लुकाशेंको के मध्यस्थ से प्रिगोझिन ने सशस्त्र विद्रोह को रोकने पर सहमति जताई। इसके परिणामस्वरूप, प्रिगोझिन बेलारूस जाने पर भी सहमत हो गए थे।
इस के साथ साथ वैगनर ग्रुप के सैनिकों को रूस के रक्षा मंत्रालय के साथ अनुबंध पर हस्ताक्षर करना प्रस्तावित किया गया है।