भारत-रूस संबंध
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रूस ने जून में भारत को लौह और इस्पात की आपूर्ति 1.4 गुना बढ़ाई

भारत और रूस 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को 100 अरब डॉलर तक बढ़ाने, असंतुलित व्यापार को संतुलित करने, गैर-टैरिफ व्यापार बाधाओं को खत्म करने और यूरेशियन आर्थिक संघ (EAEU)-भारत मुक्त व्यापार क्षेत्र की संभावना तलाशने की योजना बना रहे हैं।
Sputnik
Sputnik द्वारा भारतीय सांख्यिकी सेवा के आंकड़ों का अध्ययन करने के बाद की गई गणना के मुताबिक रूस से भारत की लौह और इस्पात की खरीद जून में पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 1.4 गुना बढ़कर 4.6 करोड़ डॉलर हो गई है।

आंकड़ों के मुताबिक रूस ने भारत को पिछले छह महीनों में 23.9 करोड़ डॉलर की लौह धातुएं बेचीं, जो 2023 के पहले छह महीनों की तुलना में लगभग दो-तिहाई अधिक है और पूरे 2023 के लिए, आपूर्ति 443.4 मिलियन डॉलर रही।

जून में आयात की जाने वाली मुख्य वस्तुओं में 3.9 करोड़ डॉलर के लौह अयस्क के डायरेक्ट रेड्यूस्ड आयरन उत्पाद और 600 मिमी की चौड़ाई वाले मिश्र धातु इस्पात से बने 55 लाख डॉलर के फ्लैट रोल्ड उत्पाद थे। डायरेक्ट रेड्यूस्ड आयरन, गांठों, फाइन्स या छर्रों के रूप में लौह अयस्क है, जिसमें हाइड्रोजन और कार्बन मोनोऑक्साइड का उपयोग करके ऑक्सीजन को हटा दिया जाता है।

वहीं, जून में, रूस 3.3% हिस्सेदारी के साथ लौह और इस्पात आपूर्ति में सातवें स्थान पर था जबकि शीर्ष तीन आयातकों में सबसे पहले 15% हिस्सेदारी और 21 करोड़ डॉलर आपूर्ति मात्रा के साथ दक्षिण कोरिया, दूसरे पर 13% और 18.5 करोड़ डॉलर के साथ चीन और तीसरे पर 12% और 17.3 करोड़ डॉलर के साथ इंडोनेशिया रहा।

भारत और रूस के बीच का व्यापार

भारत ने वित्त वर्ष 2023 में रूस को 3,873 वस्तुओं का निर्यात किया, वर्ष 2022-23 में रूस को भारत का निर्यात 3.14 अरब डॉलर रहा। इस वित्तीय वर्ष के दौरान भारत से रूस को निर्यात की जाने वाली प्रमुख वस्तुओं में औषधि निर्माण, जैविक उत्पाद, अवशिष्ट रसायन, लोहा और इस्पात, समुद्री उत्पाद, थोक औषधियां, कॉफी आदि शामिल रहीं। जबकि अप्रैल-नवंबर 2023-24 तक रूस को भारत का निर्यात 2.7 अरब डॉलर रहा।

दूसरी तरफ भारत ने वित्त वर्ष 2023 में रूस से 983 वस्तुओं का आयात किया जो 2022-23 में 46.21 अरब डॉलर रहा। रूस से भारत के आयात में पेट्रोलियम भी शामिल रहा इसके अलावा 2022-23 के दौरान कच्चा तेल, कोयला, कोक और ब्रिकेट, उर्वरक, पेट्रोलियम उत्पाद, मोती, कीमती और अर्ध-कीमती पत्थर, वनस्पति तेल का भारत द्वारा आयात किया गया। रूस द्वारा भारत में अप्रैल-नवंबर 2023-24 तक किया गया आयात 40.5 अरब डॉलर रहा।

इसके अलावा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच कुछ हफ्ते पहले हुई बातचीत के बाद जारी एक संयुक्त बयान में घोषणा की गई थी कि दोनों देश राष्ट्रीय मुद्राओं का उपयोग करके द्विपक्षीय निपटान प्रणाली स्थापित करने और आपसी निपटान में डिजिटल वित्तीय साधनों को पेश करने की योजना बना रहे हैं।
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