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दलाई लामा ने द दलाई लामा सेंटर का शिलान्यास किया

© AP Photo / Tsering TopgyalTibetan spiritual leader the Dalai Lama speaks on "the art of happiness" at a public event in New Delhi, India, Thursday, Aug. 10, 2017
Tibetan spiritual leader the Dalai Lama speaks on the art of happiness at a public event in New Delhi, India, Thursday, Aug. 10, 2017 - Sputnik भारत, 1920, 03.01.2023
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इस केंद्र में मुख्य रूप से पढ़े जाने वाले विषय प्राचीन भारतीय दर्शन मनोविज्ञान, तर्कशास्त्र, द्वंद्ववाद और 14 में दलाई लामा की चार प्रमुख जीवन प्रतिबद्धता पर आधारित होंगे।
तिब्बतियों के धर्मगुरु 14वें दलाई लामा ने आज बिहार के गया में दलाई लामा सेंटर फॉर तिब्बतियन एंड इंडियन ऐन्शन्ट वीज़डोम का शिलान्यास मंत्रों के उच्चारण से किया।

इस मौके पर केंद्रीय कानून मंत्री किरेन रिजिजू, बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी और बिहार सरकार के कृषि मंत्री कुमार सरबजीत मौजूद थे।
इस केंद्र का उद्देश्य भारत में तिब्बती संस्कृति एवं भारतीय प्राचीन संस्कृति पर एक साथ अध्ययन करना होगा। इसमें अध्ययन से लोग सनातन एवं बौद्ध धर्म के जड़ों तक लोग पहुंच सकेंगे।
"यह केंद्र उन भारतीय परंपराओं पर ध्यान केंद्रित करेगा जो सातवीं शताब्दी में तिब्बत में थी और बाद में उन्हें दलाई लामा द्वारा अभ्यास और प्रचारित किया गया था," आयोजकों एक बयान में कहा।
दलाई लामा ट्रस्ट के सहायक निदेशक और इस प्रोजेक्ट से जुड़े करमा ने मीडिया को बताया कि यहां केंद्र तकरीबन 4 साल में बनकर पूरा हो जाएगा और बिहार के लिए अद्भुत साबित होगा। इसकी बनावट यहां आने वाले पर्यटकों को मोह लेगी। इसे बनाने में लगने वाली लागत के लिए दान की राशि भी ली जाएगी।
इस मौके पर दलाई लामा ने श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए कहा कि अगर वह सुख और शांति और जिंदगी में विकास चाहते हैं तो सबसे पहले वह अपने अंदर बुराइयों को नष्ट करें, अपने मन को शांत रखें अगर आपका मन और चित्त शांत नहीं रहेगा तो इसका शरीर पर दुष्प्रभाव होगा।
"तिब्बत की बौद्ध परंपरा ने पश्चिम में लोगों का बहुत ध्यान आकर्षित किया है। अतीत में, बौद्ध धर्म को एक एशियाई धर्म माना जाता था। लेकिन आज इसका दर्शन और अवधारणा, विशेष रूप से मनोविज्ञान के संबंध में दुनिया भर में फैल गए है और कई वैज्ञानिक इस परंपरा में रुचि ले रहे हैं," बोधगया में भक्तों को संबोधित करते हुए, दलाई लामा ने कहा।
इससे पहले अपने नए साल के संबोधन में, तिब्बती आध्यात्मिक नेता दलाई लामा ने चीन पर हमला करते हुए कहा कि चीन बौद्ध धर्म को निशाना बनाने और नष्ट करने की कोशिश कर रहा है, लेकिन वह सफल नहीं होगा।
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