विश्व
खबरें ठंडे होने से पहले इन्हें पढ़िए, जानिए और इनका आनंद लीजिए। देश और विदेश की गरमा गरम तड़कती फड़कती खबरें Sputnik पर प्राप्त करें!

भारत अनाज सौदे को लेकर वर्तमान गतिरोध के शीघ्र समाधान की उम्मीद करता है: राजदूत

© Photo : Twitter/ @IndiaUNNewYorkIndia's Ambassador to the UN Ruchira Kamboj speaks at the UNSC meeting on terrorism.
India's Ambassador to the UN Ruchira Kamboj speaks at the UNSC meeting on terrorism. - Sputnik भारत, 1920, 19.07.2023
सब्सक्राइब करें
भारत अनाज सौदे को जारी रखने में संयुक्त राष्ट्र के प्रयासों का समर्थन करता है, और इसपर मतभेदों को जल्द से जल्द दूर हो जाने की उम्मीद करता है, संयुक राष्ट्र में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने बुधवार को कहा।
संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) में बुधवार को यूक्रेन संकट पर सालाना विचार-विमर्श किया गया। यूएनजीए की इस वार्षिक चर्चा में भारत की राजदूत रुचिरा कंबोज ने अपनी बात रखी।

“हम इस क्षेत्र में हाल के घटनाक्रम से चिंतित हैं, जिन्होंने शांति और स्थिरता के बड़े उद्देश्य को हासिल करने में मदद नहीं की है <…> भारत ने काला सागर अनाज सौदे को जारी रखने में संयुक्त राष्ट्र के महासचिव [एंटोनियो गुटेरेस] के प्रयासों का समर्थन किया है, और वर्तमान गतिरोध के शीघ्र समाधान की उम्मीद करता है,” संयुक्त राष्ट्र में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने कहा।

कंबोज ने शत्रुता को तत्काल समाप्त करने तथा बातचीत एवं कूटनीति के रास्ते पर लौटने पर आग्रह किया।

“यह कितना भी कठिन क्यों न हो, मतभेदों और विवादों को सुलझाने के लिए बातचीत ही एकमात्र उत्तर है। शांति के रास्ते के लिए हमें कूटनीति के सभी रास्ते खुले रखने होंगे,“ कंबोज ने कहा।

17 जुलाई को रूस काला सागर अनाज निर्यात समझौते को खत्म कर दिया, जो खाद्य और उर्वरक को वैश्विक बाजारों तक पहुंचाने के प्रयासों से जुड़ा था। रूस ने कई बार इस समझौते को आगे बढ़ाया है, लेकिन पश्चिम ने बार-बार इस समझौते के तहत रूस की लगाई शर्तें पूरी करने से परहेज की है।
साथ ही, मास्को ने इसपर भी जोर दिया कि हालांकि समझौते का उद्देश्य सबसे गरीब देशों को खाद्य भेजना था, यूक्रेन से अनाज का बड़ा हिस्सा पश्चिम के विकसित देशों में चला गया।
India's Prime Minister Narendra Modi, left, shakes hands with Russia's President Vladimir Putin (File) - Sputnik भारत, 1920, 18.07.2023
भारत-रूस संबंध
भारत-रूस आर्थिक संबंध बढ़ते ही चले जाएंगे: विशेषज्ञ
क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने कहा कि रूस समझौते पर लौटने के लिए तैयार होगा, अगर मास्को द्वारा प्रस्तावित शर्तें पूरी की जाएंगी।
बता दें कि रूस और तुर्की के विदेश मंत्रियों ने गरीब देशों की जरूरतों को पूरा करने के लिए एक वैकल्पिक प्रस्ताव रखा जो कीव और उसके पश्चिमी संरक्षकों की विध्वंसक कार्रवाइयों पर निर्भर नहीं होगा।
न्यूज़ फ़ीड
0
loader
चैट्स
Заголовок открываемого материала