राजीव चंद्रशेख ने सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के साथ गलत सूचना और डीपफेक से निपटने के लिए उन्होंने इसमें की गई प्रगति की समीक्षा की।
"प्लेटफार्मों के अनुपालन को और सुनिश्चित करने के लिए नए, संशोधित आईटी नियमों और ऑनलाइन उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा और विश्वास पर सक्रिय रूप से विचार किया जा रहा है," चन्द्रशेखर ने एक्स पर कहा।
भारतीय मीडिया ने बताया की सरकार ने मीडिया प्लेटफार्मों से डीप फेक के मुद्दे को लेकर सख्ती से बात की है। प्लेटफार्मों को याद दिलाया गया है कि आईटी नियमों के तहत चिन्हित "उपयोगकर्ता को नुकसान" या "अवैधता" के 11 क्षेत्रों को भारतीय दंड संहिता (IOC) के समकक्ष प्रावधानों में भी मैप किया गया है और इसलिए भारतीय कानूनों के मुताबिक इसके आपराधिक परिणाम भी हो सकते हैं।
"24 नवंबर की बैठक के बाद से हुई प्रगति की समीक्षा करने के लिए आज बिचौलियों के साथ गलत सूचना और डीपफेक पर दूसरा डिजिटल इंडिया संवाद आयोजित किया गया। कई मंच पिछले महीने लिए गए निर्णयों पर प्रतिक्रिया दे रहे हैं और 100 प्रतिशत अनुपालन सुनिश्चित करने के बारे में सलाह अगले 2 दिन में जारी की जाएगी," आईटी और इलेक्ट्रॉनिक्स राज्य मंत्री ने पोस्ट में लिखा।
सरकार ने अपनी तरफ से प्लेटफार्मों को साफ कर दिया कि सेवा की सामुदायिक दिशानिर्देशों में स्पष्ट रूप से उल्लेख होना चाहिए। आईटी नियमों के 3(1)(बी) के तहत उल्लंघन IPC जैसे अन्य कानूनों के तहत प्रासंगिक प्रावधान के उल्लंघन के समान है।