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पीटीआई के सदस्यों और पुलिस के बीच झड़प, इमरान खान पर आतंकवाद का आरोप

© AFP 2023 ARIF ALISupporters of former Pakistan's prime minister Imran Khan gather around police van outside his house in Lahore on March 5, 2023
Supporters of former Pakistan's prime minister Imran Khan gather around police van outside his house in Lahore on March 5, 2023 - Sputnik भारत, 1920, 09.03.2023
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पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की राजधानी लाहौर शहर में बुधवार को इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) और पुलिस के बीच झड़प हो गई।
पाकिस्तान की मुख्य विपक्षी पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के समर्थकों और कार्यकर्ताओं के पुलिस के साथ संघर्ष के एक दिन बाद पुलिस ने पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के साथ उनकी पार्टी के दूसरे नेताओं पर आतंकवाद का आरोप लगाया है।
अन्य लोगों में पूर्व सूचना मंत्री फवाद चौधरी, पूर्व विधायक फारुख हबीब और हसन नियाजी (इमरान खान का भतीजा) शामिल हैं।
पुलिस और पीटीआई समर्थकों के बीच हुई हिंसक झड़पों में एक व्यक्ति की मौत हो गई जिसके बाद पुलिस ने यह कार्यवाही की।
लाहौर पुलिस स्टेशन में दर्ज की गई प्रथम सूचना रिपोर्ट (एफआईआर) के अनुसार इमरान खान और अन्य वरिष्ठ पीटीआई नेताओं पर आतंकवाद विरोधी अधिनियम (एटीए) के साथ हत्या, हत्या का प्रयास और राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा जैसे मामले दर्ज किये गए है।
एफआईआर में उल्लेख है कि पीटीआई सदस्य सरकार और उसके संस्थानों को नष्ट करने की कोशिश कर रहे थे और पाकिस्तानी के हितों के खिलाफ काम कर रहे थे।

किस वजह से झड़पें हुईं?

खान ने 8 मार्च को पीटीआई के चुनाव अभियान को शुरू करने के लिए लाहौर में एक रैली की घोषणा की लेकिन स्थानीय प्रशासन ने शहर में उनके आवास में और इसके आसपास धारा 144 (सार्वजनिक सभा को रोकना) लगा दी।
पुलिस ने पीटीआई सदस्यों को शहर के ज़मन पार्क इलाके में इमरान खान के घर पर आने से रोकने के लिए इलाके में कई चौकियों को लगाने के अलावा, दंगा-रोधी बल (एआरएफ) और वाटर कैनन तैनात किए। जैसा कि पीटीआई समर्थकों ने पुलिस को खान के आवास तक पहुंचने के सभी मार्गों को अवरुद्ध करते देखा तो उन्होंने हॉकी स्टिक और क्रिकेट बैट से पुलिस का सामना करना चुना। इसके बाद पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ने के साथ साथ लाठीचार्ज भी किया।
बाद में लाहौर पुलिस के एक प्रवक्ता ने कहा कि "पीटीआई कार्यकर्ताओं से झड़प में दो डीएसपी और एक एसएचओ सहित कम से कम 11 पुलिसकर्मी घायल हो गए।"
उन्होंने बिलाल अली नाम के एक पीटीआई कार्यकर्ता की मौत की भी पुष्टि की। इस बीच पंजाब के पुलिस महानिरीक्षक (आईजी) डॉ. उस्मान अनवर ने भीड़ के पुलिस पर हमले की जांच के लिए एक समिति का गठन किया जिसमें उप महानिरीक्षक (डीआईजी) एलीट पुलिस बल सादिक अली और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) आंतरिक जवाबदेही ब्यूरो (आईएबी) लाहौर इमरान किश्वर शामिल थे।
आईजी ने अपने आदेश में कहा कि समिति हिंसा में तथ्यों का पता लगाने, पारदर्शिता सुनिश्चित करने और जीवन और संपत्ति के नुकसान के कारणों का पता लगाएगी।
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