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निर्मला सीतारमण ने भारत में मुस्लिमों की स्थिति को लेकर पश्चिम की नकारात्मक धारणा का जवाब दिया

© AP Photo / Andrew HarnikFinance Minister of India Nirmala Sitharaman speaks during a meeting with Treasury Secretary Janet Yellen at the Department of Treasury in Washington, Tuesday, Oct. 11, 2022.
Finance Minister of India Nirmala Sitharaman speaks during a meeting with Treasury Secretary Janet Yellen at the Department of Treasury in Washington, Tuesday, Oct. 11, 2022. - Sputnik भारत, 1920, 11.04.2023
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पश्चिम हमेशा से भारत में मुसलमानों की स्थिति को लेकर नए नए दावे करते आया है हाल का ताजा मामला अगर याद किया जाए तो यूके के बीबीसी का है जिसने गुजरात दंगों पर एक डॉक्यूमेंट्री जारी करते हुए कहा कि भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसके लिए जिम्मेदार थे। लेकिन भारत के सर्वोच्च अदालत ने प्रधानमंत्री को सभी मामलों में क्लीन चिट दे दी थी।
भारत में मुसलमानों के खिलाफ हिंसा और भारत की नकारात्मक पश्चिमी धारणा के सवाल का जवाब देते हुए केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि पाकिस्तान की तुलना में भारत में मुसलमान काफी अच्छी स्थिति में हैं और वहीं अधिकतर लेखों में गलत लिखा गया है कि भारत में मुसलमानों का जीवन बहुत कठिन है।

"भारत में दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी मुस्लिम आबादी है और यह आबादी संख्या में भी बढ़ रही है। यदि कोई धारणा है या वास्तव में, राज्य के समर्थन से उनका जीवन कठिन बना दिया गया है जो कि इन अधिकांश लेखों में निहित है तो क्या मुस्लिम आबादी 1947 की तुलना में बढ़ रही होती, जो इसके विपरीत है पाकिस्तान के लिए जो उसी समय बना था?," भारत में 'मुसलमानों के खिलाफ हिंसा' और भारत की नकारात्मक पश्चिमी धारणा पर एक सवाल के जवाब में सीतारमण ने कहा।

सीतारमण ने आगे पाकिस्तान के संदर्भ में कहा कि वहां बहुसंख्यक संप्रदाय द्वारा कई मुस्लिम संप्रदाय हिंसा के शिकार हैं और भारत में मुसलमान अपना व्यवसाय भी अच्छा चला रहे हैं और उनके बच्चों की शिक्षा पर भी ध्यान दिया जा रहा है।

"कानून और व्यवस्था राज्य का विषय है, पूरे भारत में अगर मुसलमानों को प्रभावित करने के लिए हिंसा हो रही है तो यह अपने आप में ही एक गलत बयान है, कहने के लिए कि यह भारत सरकार का दोष है, तो मुझे बताएं कि 2014 और आज के बीच, क्या जनसंख्या कम हो गई है, क्या किसी विशेष समुदाय पर ऋण अनुपातहीन रूप से अधिक हो गया है," सीतारमण ने आगे कहा।

साल 2022 में दुनिया भर में धार्मिक स्वतंत्रता पर वाशिंगटन की वार्षिक रिपोर्ट में नई दिल्ली की आलोचना की गई थी। रिपोर्ट के मुताबिक भारत में अल्पसंख्यक समुदायों के सदस्यों पर हत्याएं, हमले और डराने-धमकाने सहित हमले 2021 में हुए। इन में गौ-रक्षकता शामिल थी - गैर-हिंदुओं पर कथित रूप से गायों का वध करने या बीफ का व्यापार करने के लिए हमले हुए।
हालांकि उस वक्त भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने रेपोर्ट पर जबाव देते हुए कहा था कि वरिष्ठ अमेरिकी अधिकारियों की रिपोर्ट गलत जानकारी और पक्षपातपूर्ण टिप्पणियां से भरी है।
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