Обломки зданий, пострадавших в результате ракетных ударов ВС Израиля по Газе - Sputnik भारत, 1920
इज़राइल-हमास युद्ध

इजरायल-फिलिस्तीन विवाद में किसके साथ हैं दुनिया के अलग-अलग देश?

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फिलिस्तीनी आंदोलन हमास के हमले के बाद इजरायली रक्षा सेना ने गाजा पट्टी में 'ऑपरेशन आयरन स्वॉर्ड्स' की शुरुआत की घोषणा की। जारी संघर्ष में सैकड़ों लोग मारे गये, हजारों घायल हुए। इजरायल-फिलिस्तीन विवाद को लेकर दुनिया के देशों की प्रतिक्रिया अलग-अलग है।
पश्चिमी देश इजरायल के समर्थन में खड़े हो गए हैं। उनके शीर्ष अधिकारियों ने इजरायल पर फिलिस्तीनी हमास आंदोलन के हमले की निंदा की। ब्रिटिश विदेश सचिव जेम्स क्लेवरली और जर्मन विदेश मंत्री एनालेना बेयरबॉक ने इजरायल और उसके आत्मरक्षा के अधिकार के लिए समर्थन व्यक्त किया।
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने वीडियो संदेश जारी किया, जिसमें इजरायल को ठोस समर्थन और सैन्य मदद देने का ऐलान किया है। इसके साथ भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्पष्ट कर दिया है कि "भारत इस मुश्किल घड़ी में इजरायल के साथ एकजुटता से खड़ा है।"
फिलिस्तीन के समर्थकों में ईरान, इराक, सीरिया जैसे देश शामिल हैं। ईरानी पक्ष ने फिलिस्तीन व येरूशलम की पूर्ण मुक्ति के लिए फिलिस्तीनी लड़ाकों के साथ खड़े रहने का वादा किया। कतर के विदेश मंत्रालय ने भी अपना रुख जाहिर करते हुए कहा कि फिलिस्तीनी हमलों और गाजा पट्टी में बढ़ते तनाव के लिए केवल इजरायल ही ज़िम्मेदार है।
वहीं, कई देश इस स्थिति में तटस्थ रहे। रूस ने कहा कि दोनों पक्षों को कूटनीति की मेज पर वापस लौटना चाहिए। सऊदी अरब ने "तनाव को तत्काल समाप्त करने, नागरिकों की सुरक्षा और आत्म-नियंत्रण" का आग्रह किया।
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