उपग्रह सेवाओं में वृद्धि को प्रेरित करने वाले कारक
निखिता ने कहा, "परंपरागत रूप से, उपग्रह संचार और नेविगेशन पर ध्यान केंद्रित करते थे, लेकिन अब वे जलवायु निगरानी, आपदा प्रतिक्रिया और शहरी नियोजन जैसी महत्वपूर्ण चुनौतियों से निपट रहे हैं। भारत की ताकत समस्या-समाधान के लिए उपग्रह डेटा का उपयोग करने की इसकी क्षमता में निहित है। उदाहरण के लिए, शहरीकरण और जलवायु संबंधी मुद्दों को संबोधित करने के लिए उन्नत पृथ्वी अवलोकन उपकरणों की आवश्यकता होती है, और यहीं पर उपग्रह काम आते हैं।"
उपग्रह प्रौद्योगिकी में इनोवेशन
उन्होंने कहा, "एक बड़ी सफलता इन-ऑर्बिट सर्विसिंग है, जहां उपग्रहों की अंतरिक्ष में मरम्मत या उन्नयन से उनका जीवनकाल बढ़ जाता है और प्रतिस्थापन की आवश्यकता कम हो जाती है, जिससे संचालन अधिक टिकाऊ हो जाता है।"
वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा
उन्होंने कहा, "जो चीज हमें वास्तव में अलग बनाती है, वह है जिस तरह से हम प्रौद्योगिकी को व्यावहारिक अनुप्रयोगों में बदलते हैं, जैसे कि कृषि प्रथाओं और आपदा प्रबंधन में सुधार।"
निखिता ने कहा, "इससे छोटे उपग्रह निर्माण से लेकर अंतरिक्ष मलबे के प्रबंधन तक अत्याधुनिक तकनीकों पर काम करने वाले अनेकों स्टार्टअप को बढ़ावा मिला है।"