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डीप स्टेट प्रभावशाली बना हुआ है, तथा उसे ट्रम्प विरोधी मजबूत समर्थन प्राप्त है: पूर्व भारतीय राजदूत

© AP Photo / Paul SancyaRepublican presidential nominee former President Donald Trump speaks at a campaign rally at Macomb Community College Friday, Nov. 1, 2024, in Warren, Mich.
Republican presidential nominee former President Donald Trump speaks at a campaign rally at Macomb Community College Friday, Nov. 1, 2024, in Warren, Mich.  - Sputnik भारत, 1920, 06.11.2024
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रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप ने कमला हैरिस को हराकर अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति के लिए जरूरी इलेक्टोरल कॉलेज प्राप्त कर इस बार का राष्ट्रपति चुनाव अपने नाम कर लिया है।
संयुक्त राज्य अमेरिका में चुनाव के बाद अब तस्वीर स्पष्ट हो चुकी है और डोनाल्ड ट्रंप एक बार फिर व्हाइट हाउस की गद्दी पर बैठने के लिए तैयार हैं।
दूसरी बार के राष्ट्रपति चुनाव में जीत प्राप्त करने वाले डोनाल्ड ट्रंप ने चुनावी रात के अपने संबोधन में अमेरिकी लोगों के लिए लड़ने का संकल्प लेते हुए कहा कि वे एक मजबूत, सुरक्षित और समृद्ध अमेरिका बनाने तक चैन से नहीं बैठेंगे।
ट्रंप की जीत पर पूर्व भारतीय विदेश सचिव और तुर्की, मिस्र, फ्रांस और रूस में भारतीय राजदूत रह चुके कंवल सिब्बल ने बताया कि ट्रंप की दूसरी जीत की संभावना थी, हालाँकि सर्वेक्षणों ने संकेत दिया कि यह करीबी होगा, इसके अतिरिक्त ट्रंप के आलोचकों ने उन्हें बदनाम करने के लिए कड़ी मेहनत की, उन्हें चुनाव लड़ने से रोकने के लिए FBI जाँच और अन्य कानूनी चुनौतियाँ शुरू कीं थी। इन सबके बावजूद उन्होंने जीत प्राप्त की।
कमला हैरिस की हार पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि सबसे पहले, वह काफी देर से चुनावी दौड़ में सम्मिलित हुईं, जिससे उन्हें अपनी पहचान और विचारों को स्थापित करने के लिए बहुत कम समय मिला। विशेषज्ञ के अनुसार, अगर हैरिस के पास प्रचार के लिए अधिक समय होता, तो उन्हें अधिक समर्थन मिल सकता था।
भारत में विदेशी मामलों के जानकार ने अमेरिका में मौजूद "डीप स्टेट" द्वारा प्रभावित अमेरिकी विदेश नीति निर्णयों से ट्रंप की स्वतंत्र रूप से कार्य करने की क्षमता पर पड़ने वाले प्रभाव पर Sputnik India से बात करते हुए बताया कि डीप स्टेट का निश्चित रूप से प्रभाव है, और यह कार्य करना जारी रखेगा।

पूर्व भारतीय राजदूत कंवल सिब्बल ने कहा, "मीडिया, थिंक टैंक और खुफिया एजेंसियों सहित लोकतांत्रिक आधार मजबूत है और काफी हद तक ट्रंप विरोधी है। इसलिए, जब तक डीप स्टेट मौजूद है, ट्रंप बाधाओं का सामना करेंगे। हालांकि, इस बार एक बड़ा अंतर है। अगर ट्रंप सीनेट और प्रतिनिधि सभा पर नियंत्रण प्राप्त कर लेते हैं, तो उनकी स्थिति अत्यंत प्रबल हो जाएगी, जिससे विपक्ष के लिए उनकी नीतियों को कमजोर करना कठिन हो जाएगा।"

पूर्व भारतीय राजदूत ने कहा कि पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति पर "डीप स्टेट" का प्रभाव इस बात पर भी निर्भर करता है कि नई जिम्मेदारी के बाद ट्रंप अपने प्रशासन में किसे नियुक्त करते हैं।

कंवल सिब्बल ने बताया, "अपने पिछले कार्यकाल में, उन्होंने अपनी नियुक्तियों में गलतियाँ करने की बात स्वीकार की, ऐसे लोगों को चुना था जो उनकी नीतियों के विरुद्ध कार्य करते थे। इस बार, अगर वे अपनी टीम को समझदारी से चुनते हैं, तो वे आंतरिक तोड़फोड़ के बिना अपने एजेंडे को लागू कर सकते हैं।"

खालिस्तान मुद्दे पर अमेरिका द्वारा भारत पर लगाए गए आरोपों के बीच इस जीत के बाद ट्रंप द्वारा अमेरिका में खालिस्तानी चरमपंथियों पर नकेल कसने पर बात करते हुए विदेशी मामलों के जानकार सिब्बल कहते हैं कि "संयुक्त राज्य अमेरिका में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता (पहला संशोधन) से जुड़ी कानूनी जटिलताओं को देखते हुए, हो सकता है कि वे तुरंत खालिस्तानी चरमपंथियों पर नकेल न कसें लेकिन भविष्य में अच्छे परिणाम देखे जा सकते हैं।"

उन्होंने जोर देकर कहा, "यह राष्ट्रीय सुरक्षा चिंताओं और व्यक्तिगत स्वतंत्रता के बीच संतुलन बनाने का मुद्दा है। बाइडन प्रशासन ने खालिस्तानी तत्वों के विरुद्ध निर्णायक कार्रवाई नहीं की है, इसलिए यह स्पष्ट नहीं है कि ट्रंप कोई कड़ा रुख अपनाएंगे या नहीं, लेकिन वे भारत की चिंताओं के प्रति अधिक ग्रहणशील होंगे। संभवतः हम इससे कुछ सकारात्मक परिणाम देखें।"

सिब्बल ने यह भी कहा कि व्यापक अमेरिकी संदर्भ में, ये खालिस्तानी समूह अपेक्षाकृत छोटे हैं और राजनीतिक रूप से महत्वपूर्ण नहीं हैं, हालांकि वास्तविक चिंता भारत के पंजाब में आतंकवाद और हिंसा से उनके संभावित संबंधों को लेकर है।

"इन समूहों को संभवतः अनदेखा कर दिया जाता, लेकिन वे संभावित रूप से भारत में समस्याएं उत्पन्न कर सकते हैं, इसलिए यह विषय हमारे लिए अधिक संवेदनशील है," विशेषज्ञ ने बताया।

सिब्बल ने कहा, "यह ट्रंप के लिए घरेलू राजनीतिक विषय के बजाय भारत के लिए एक कूटनीतिक मुद्दा अधिक होगा।"

This combination of photos shows Republican presidential nominee former President Donald Trump, left, and Democratic presidential nominee Vice President Kamala Harris during an ABC News presidential debate at the National Constitution Center, Tuesday, Sept. 10, 2024, in Philadelphia. - Sputnik भारत, 1920, 06.11.2024
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