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पश्चिमी मीडिया ने इज़राइली अधिकारियों के हवाले से बताया कि इजरायली सेना ने सप्ताह के अंत में जमीनी अभियान शुरू करने की योजना बनाई थी, पर मौसम की स्थिति के कारण उसको स्थगित कर दिया।
इज़राइली सरकार ने गाजा पट्टी की पूर्ण नाकाबंदी की घोषणा की। बिजली और भोजन की आपूर्ति रोक दी गई। उत्तर गाजा के निवासियों को दक्षिण की और जाने का अल्टीमेटम दे दिया गया है। संयुक्त राष्ट्र सहित अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने इज़राइल के इन कदमों की आलोचना करने हुए कहा कि इन कार्रवाइयों के ‘विनाशकारी परिणाम’ हो सकते हैं।
साथ ही इजराइली सेना ने गाजा पट्टी के पास अपने टैंक नियुक्त कर दिए हैं। रिपोर्ट के अनुसार, इजराइल हमास की पोररण समाप्ति करने के लिए जमीनी आक्रमण की तैयारी कर रहा है।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने दोनों पक्षों से संघर्ष बढ़ाने के स्थान पर बातचीत और कूटनीति के रास्ते पर लौटने का आग्रह किया। मास्को ने युद्धविराम पर एक मसौदा प्रस्ताव भी तैयार किया है और संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से सोमवार को इस पर मतदान करने का अनुरोध किया है।
7 अक्टूबर को फ़िलिस्तीनी आंदोलन हमास ने इज़राइल पर हमला किया था। प्रतिउत्तरी कार्रवाई में, इज़राइल ने हमास के विरुद्ध 'आपरेशन आयरन स्वोर्ड्स' चलाया और गाजा पट्टी पर भयानक बमबारी आरंभ कर दी है। दोनों पक्षों से मरने वालों की संख्या 3,000 के पार चली गई है, हजारों लोग घायल हो गए हैं।
29 नवंबर 1947 को संयुक्त राष्ट्र महासभा ने जॉर्डन नदी के वेस्ट बैंक में दो राज्यों यानी यहूदी और अरब के निर्माण के लिए मतदान किया था, इसके साथ यरूशलेम ने एक अंतरराष्ट्रीय क्षेत्र का दर्जा बरकरार रखा था।
4 मई 1948 को इजरायल की स्वतंत्रता की घोषणा की गई। इसके तुरंत बाद, अरब देशों यानी मिस्र, सीरिया, जॉर्डन, लेबनान, इराक ने नवगठित राज्य के खिलाफ युद्ध शुरू कर दिया।
1967 के छह दिवसीय युद्ध के दौरान, इज़राइल ने पूर्वी यरुशलम सहित गाजा पट्टी और जॉर्डन नदी के वेस्ट बैंक पर कब्जा कर लिया। यहूदी आबादी फिलिस्तीनी भूमि पर आने लगी, जिसके कारण फिलिस्तीनियों का बड़े पैमाने पर पुनर्वास हुआ।
पहली इंतिफादा (कब्जे वाले क्षेत्रों में इजरायली शासन के खिलाफ फिलिस्तीनी विद्रोह) के बाद, फिलिस्तीन की अंतरिम स्वशासन के लिए सिद्धांतों की घोषणा पर हस्ताक्षर किए गए। यह अवधि 5 वर्ष लंबी होने वाली थी। इसकी शुरुआत गाजा पट्टी और जेरिको (वेस्ट बैंक) से इजरायली सैनिकों की पुनः तैनाती के साथ होनी थी और फिलिस्तीनी क्षेत्रों की अंतिम स्थिति के निर्धारण के साथ समाप्त होनी थी।
1996 में फिलिस्तीन में पहला चुनाव हुआ। यासर अराफात को फिलिस्तीनी राष्ट्रीय प्राधिकरण के अध्यक्ष के रूप में चुना गया था।
दूसरी इंतिफ़ादा के बाद, 2002 में रूस, अमेरिका, यूरोपीय संघ और संयुक्त राष्ट्र ने "रोड मैप" नामक एक शांति योजना प्रस्तावित की। इस में वार्ता की बहाली, संघर्ष के समाधान और एक स्वतंत्र फ़िलिस्तीनी राज्य के निर्माण के सिद्धांत शामिल थे।
2005 में इज़राइल ने बिना किसी राजनीतिक समझौते के एकतरफा तरीके से गाजा पट्टी से अपने सैनिकों को पूरी तरह से वापस ले लिया।
25 जनवरी 2006 को दूसरा चुनाव हुआ। फ़िलिस्तीनी विधान परिषद में हमास ने बहुमत हासिल की यानी 80 सीटें, फ़तह को 43 सीटें मिलीं। जून 2007 में, गाजा पट्टी में दो संगठनों यानी फतह (जिसने 2006 के चुनावों के बाद शासन खोया) और हमास के बीच एक सैन्य संघर्ष हुआ। इसके परिणामस्वरूप अधिकांश फतह कार्यकर्ताओं को वहां से हटाने के बाद, हमास ने गाजा पट्टी पर पूर्ण नियंत्रण हासिल कर लिया।
एक बार फिर स्थिति तेजी से बिगड़ गई जब अमेरिका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प ने 2018 में येरुशलम को इजरायल की राजधानी के रूप में मान्यता देने की घोषणा की और अमेरिकी दूतावास को वहां स्थानांतरित कर दिया।
29 नवंबर 2012 को, फ़िलिस्तीन को संयुक्त राष्ट्र में पर्यवेक्षक राज्य का दर्जा प्राप्त हुआ, जिसे कई लोग अंतरराष्ट्रीय समुदाय द्वारा फ़िलिस्तीनी राज्य के दर्जे की वास्तविक मान्यता के रूप में देखते हैं।
गाजा पट्टी से रॉकेट हमलों के परिणामस्वरूप, इज़राइल ने 2008 से हमास के बुनियादी ढांचे के खिलाफ वहां अभियान चला रहा है। आखिरी अभियान मई 2023 में हुआ।
रूस ने इजराइल और फिलिस्तीन से गोलीबारी बंद करने और बातचीत की मेज पर लौटने का आह्वान किया।
19:44 15.10.2023
19:42 15.10.2023
19:21 15.10.2023
❗️ लेबनान से इजरायली क्षेत्र की ओर नौ मिसाइलें दागी गईं, वायु रक्षा बलों ने 5 मिसाइलों को रोका, इजरायली सेना ने लेबनान में प्रक्षेपण स्थल पर हमला किया, इजरायली सेना के बयान में कहा गया है।
18:31 15.10.2023
ईरानी विदेश मंत्री होसैन अमीर अब्दुल्लाहियन ने कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल थानी के साथ दोहा में बैठक के दौरान जोर देकर कहा कि "अगर इजरायल गाजा [पट्टी] के रक्षाहीन नागरिकों और निवासियों पर हमले करना जारी रखेगा, तो कोई भी स्थिति पर नियंत्रण की और संघर्षों के न बढ़ने की गारंटी देने में सक्षम नहीं होगा।“
17:39 15.10.2023
15:37 15.10.2023
15:06 15.10.2023
❗️ इजरायली सेना ने एक सैन्य बयान में कहा कि उसने दोनों ओर से गोलाबारी के बाद लेबनान के साथ 4 किमी की दूरी पर सीमा क्षेत्र को पूरी तरह से बंद करने का निर्णय किया है।
14:33 15.10.2023
14:12 15.10.2023
अगर जनरेटर का ईंधन समाप्त हो जाएगा तो अस्पताल सामूहिक कब्र में परिवर्तित हो जाएगा: गाजा में अल-शिफा अस्पताल के निदेशक
गाजा पट्टी में अल-शिफा अस्पताल के निदेशक डॉ. मुहम्मद सलीमा ने Sputnik Arabic को बताया कि घायलों की संख्या इतनी अधिक हो गई कि अल-शिफा अस्पताल में उनको उपचार देने की पर्याप्त क्षमता नहीं है, हालांकि वह गाजा पट्टी में सबसे बड़ा अस्पताल है।
डॉ मुहम्मद सलीमा के अनुसार, आठ दिनों में मृतकों और घायलों की संख्या 2014 में 51 दिनों के युद्ध में मारे गए लोगों की संख्या से अधिक हो गई।
उन्होंने कहा, “मैं विश्व से तुरंत गोलीबारी बंद करने और सुरक्षित मानवीय गलियारे खोलने का आह्वान करता हूं, जिसकी सहायता से गाजा पट्टी के घायलों को बाहर निकालने, मेडिकल बेड और दवा सहित आवश्यक चिकित्सा उपकरणों की आपूर्ति करने, फील्ड अस्पतालों को बनाने और अस्पतालों को ईंधन देने की अनुमति प्राप्त हो सके।”
13:42 15.10.2023
इज़राइल के रक्षा बलों ने लेबनान से गोलाबारी के बाद जवाबी हमले शुरू किए
इज़राइल के रक्षा बल ने रविवार को कहा कि उसने लेबनान से आने वाली गोलाबारी करने वालों पर हमला करना शुरू किया है, "शटुला समुदाय पर गोलीबारी के बारे में प्रारंभिक जानकारी प्राप्त करने के बाद, इज़राइल का रक्षा बल वर्तमान में लेबनान से आग की ओर हमला कर रहा है।"
12:39 15.10.2023
हमास का एक और कमांडर मारा गया: इज़राइली सेना की रिपोर्ट
लड़ाकू विमानों की मदद से एक अभियान के दौरान बिलाल अल-केदरा को मार गिराया गया। इज़राइली सेना के एक बयान के अनुसार, कई हमास लड़ाके भी मारे गए।
12:23 15.10.2023
12:22 15.10.2023
अगर इजराइल गाजा में जमीनी आक्रमण करता है तो ईरान हस्तक्षेप करेगा: रिपोर्ट
ईरान ने संयुक्त राष्ट्र के माध्यम से इज़राइल को संदेश भेजा कि अगर इज़राइल फिलिस्तीनी-इजरायल संघर्ष के बढ़ने के बीच गाजा पट्टी में जमीनी आक्रमण शुरू करता है तो तेहरान को हस्तक्षेप करना होगा, मीडिया ने स्थिति से परिचित दो राजनयिक स्रोतों का हवाला देते हुए बताया।