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'आदित्य-L1' जनवरी के पहले सप्ताह में लैग्रेंज पॉइंट 1 पर पहुंचेगा: अंतरिक्ष मंत्री
'आदित्य-L1' जनवरी के पहले सप्ताह में लैग्रेंज पॉइंट 1 पर पहुंचेगा: अंतरिक्ष मंत्री
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सूर्य का अध्ययन करने वाला भारत का पहला मिशन आदित्य-L1 जनवरी 2024 के पहले सप्ताह में अपने गंतव्य, लैग्रेंज प्वाइंट 1 (L1) पर पहुंच जाएगा, विज्ञान और प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा।
2023-12-20T18:28+0530
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भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) द्वारा इस साल फरवरी में आदित्य-L1 मिशन लॉन्च किया गया था। आदित्य-एल1 मिशन हाल ही में सूर्य की पहली पूर्ण तस्वीरें खींचीं। तस्वीरें आदित्य-L1 पर लगे सोलर अल्ट्रावॉयलेट इमेजिंग टेलीस्कोप (SUIT) उपकरण की मदद से ली गईं।इसरो का कहना है कि आदित्य-L1 मिशन के दौरान किए गए अवलोकन से वैज्ञानिकों को चुंबकीय सौर वातावरण की जांच करने और बेहतर समझ हासिल करने में मदद मिलेगी। इससे महत्वपूर्ण अंतर्दृष्टि प्राप्त होगी जो हमें पृथ्वी पर जलवायु पर सौर विकिरण के प्रभाव को बेहतर ढंग से समझने में मदद करेगी।आदित्य-एल1 द्वारा अब तक ली गई तस्वीरों में सनस्पॉट के साथ-साथ सूर्य के 'शांत' क्षेत्रों को भी दर्शाया गया है। भविष्य में ये और कई अन्य अवलोकन सूर्य के प्रकाशमंडल और क्रोमोस्फीयर के रहस्यों को उजागर करेंगे।
https://hindi.sputniknews.in/20231209/suuriy-ke-prkaashmndl-auri-kromosphiiyri-ke-adhyyn-hetu-aadity-el1-mishn-dvaariaa-praapt-huiin-nii-tsviirien-5771994.html
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'आदित्य-L1' जनवरी के पहले सप्ताह में लैग्रेंज पॉइंट 1 पर पहुंचेगा: अंतरिक्ष मंत्री
सूर्य का अध्ययन करने वाला भारत का पहला मिशन आदित्य-L1 जनवरी 2024 के पहले सप्ताह में अपने गंतव्य, लैग्रेंज प्वाइंट 1 (L1) पर पहुंच जाएगा, विज्ञान और प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) द्वारा इस साल फरवरी में आदित्य-L1 मिशन लॉन्च किया गया था। आदित्य-एल1 मिशन हाल ही में सूर्य की पहली पूर्ण तस्वीरें खींचीं। तस्वीरें आदित्य-L1 पर लगे सोलर अल्ट्रावॉयलेट इमेजिंग टेलीस्कोप (SUIT) उपकरण की मदद से ली गईं।
इसरो का कहना है कि
आदित्य-L1 मिशन के दौरान किए गए अवलोकन से वैज्ञानिकों को चुंबकीय सौर वातावरण की जांच करने और बेहतर समझ हासिल करने में मदद मिलेगी। इससे महत्वपूर्ण अंतर्दृष्टि प्राप्त होगी जो हमें पृथ्वी पर जलवायु पर सौर विकिरण के प्रभाव को बेहतर ढंग से समझने में मदद करेगी।
आदित्य-एल1 द्वारा अब तक ली गई तस्वीरों में सनस्पॉट के साथ-साथ सूर्य के 'शांत' क्षेत्रों को भी दर्शाया गया है। भविष्य में ये और कई अन्य अवलोकन
सूर्य के प्रकाशमंडल और क्रोमोस्फीयर के रहस्यों को उजागर करेंगे।
"L1 बिंदु के चारों ओर हेलो कक्षा में रखे गए उपग्रह को बिना किसी ग्रहण के लगातार सूर्य को देखने का प्रमुख लाभ मिलता है। इससे वास्तविक समय में सौर गतिविधियों और अंतरिक्ष मौसम पर इसके प्रभाव को देखने का एक बड़ा लाभ मिलेगा," इसरो ने अपनी वेबसाइट पर कहा।