भारत के रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) ने शुक्रवार को नई पीढ़ी की जमीन से हवा में मार करने वाली आकाश (AKASH-NG) मिसाइल का सफल उड़ान परीक्षण किया।
उड़ान परीक्षण के दौरान हथियार प्रणाली द्वारा लक्ष्य को सफलतापूर्वक ट्रैक कर नष्ट कर दिया गया। इसने स्वदेशी रूप से विकसित रेडियो फ्रीक्वेंसी सीकर, लॉन्चर, मल्टी-फ़ंक्शन रडार और कमांड, नियंत्रण और संचार प्रणाली के साथ मिसाइल से युक्त संपूर्ण हथियार प्रणाली के कार्यप्रणाली को प्रदर्शित किया है।
उड़ान परीक्षण के दौरान हथियार प्रणाली द्वारा लक्ष्य को सफलतापूर्वक ट्रैक कर नष्ट कर दिया गया। इसने स्वदेशी रूप से विकसित रेडियो फ्रीक्वेंसी सीकर, लॉन्चर, मल्टी-फ़ंक्शन रडार और कमांड, नियंत्रण और संचार प्रणाली के साथ मिसाइल से युक्त संपूर्ण हथियार प्रणाली के कार्यप्रणाली को प्रदर्शित किया है।
आकाश-एनजी मिसाइल का सफल परीक्षण DRDO द्वारा भारत की बढ़ती हुई स्वदेशी रक्षा क्षमताओं को प्रबल करने में किए गए निरंतर प्रयासों और प्रगति को दर्शाता है। यह उपलब्धि न मात्र रक्षा प्रौद्योगिकी में आत्मनिर्भरता के लिए देश की प्रतिबद्धता को मजबूत करती है, बल्कि अत्याधुनिक मिसाइल प्रणालियों को विकसित करने के लिए DRDO के समर्पण को भी रेखांकित करती है।
इस सिस्टम का प्रदर्शन आईटीआर, चांदीपुर द्वारा तैनात कई रडार, टेलीमेट्री और इलेक्ट्रो ऑप्टिकल ट्रैकिंग सिस्टम द्वारा कैप्चर किए गए डेटा के माध्यम से भी मान्य करता है। इस उड़ान-परीक्षण के दौरान DRDO, भारतीय वायु सेना (IAF), भारत डायनेमिक्स लिमिटेड (BDL) और भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL) के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
इस सफल परीक्षण पर देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने DRDO, IAF, PSU और उद्योग की सराहना करते हुए कहा कि प्रणाली के सफल विकास से देश की वायु रक्षा क्षमताओं में और वृद्धि होगी।