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भारतीय वायुसेना ने सबसे पुराने लड़ाकू विमानों की एक स्क्वाड्रन को सेवानिवृत्त किया
भारतीय वायुसेना ने सबसे पुराने लड़ाकू विमानों की एक स्क्वाड्रन को सेवानिवृत्त किया
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भारतीय मीडिया ने भारतीय वायु सेना (IAF) के अधिकारियों के हवाले से बताया कि मिग-21 लड़ाकू विमानों की बची तीन शेष स्क्वाड्रनों में से एक को सेवानिवृत्त कर दिया है, प्रत्येक स्क्वाड्रन में 16 से 18 लड़ाकू विमान होते हैं।
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प्रत्येक स्क्वाड्रन में 16 से 18 लड़ाकू विमान होते हैं और मीडिया के अनुसार, इन लड़ाकू विमानों को चरणबद्ध तरीके से हटाया जा रहा है। गुजरात के गांधीनगर स्थित भारतीय वायु सेना की दक्षिण पश्चिमी वायु कमान के प्रवक्ता ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा कि बाइसन IAF का सबसे उन्नत मिग-21 संस्करण है। भारतीय वायु सेना को सोवियत मूल का पहला मिग-211963 में मिला था, जो पहला सिंगल-इंजन मिग-21 था। वायु सेना ने अपनी क्षमता में बढ़ोतरी करने के लिए 874 सुपरसोनिक लड़ाकू विमानों को शामिल किया जो वायु सेना की रीड़ बना। इसके साथ भारतीय वायु सेना देश में निर्मित LCA Mk-1As (तेजस) को अगले साल शामिल करेगी, इसका निर्माण भारतीय कंपनी हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) ने किया है।Google News पर Sputnik India को फ़ॉलो करें!
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भारतीय वायु सेना, मिग 21 की एक और स्क्वाड्रन हटाई गई, देश में अब कितनी मिग 21 की स्क्वाड्रन है,एक स्क्वाड्रन में कितने विमान होते हैं,रूसी लड़ाकू विमान सुखोई-30 एमकेआई,वायु सेना को पहला मिग 21 1963 में मिला, देश में निर्मित lca mk-1as (तेजस),indian air force, another squadron of mig 21 removed, how many squadrons of mig 21 are there in the country now, how many aircraft are there in a squadron, russian fighter plane sukhoi-30 mki, air force got the first mig 21 in 1963, country lca mk-1as (tejas) built in
भारतीय वायु सेना, मिग 21 की एक और स्क्वाड्रन हटाई गई, देश में अब कितनी मिग 21 की स्क्वाड्रन है,एक स्क्वाड्रन में कितने विमान होते हैं,रूसी लड़ाकू विमान सुखोई-30 एमकेआई,वायु सेना को पहला मिग 21 1963 में मिला, देश में निर्मित lca mk-1as (तेजस),indian air force, another squadron of mig 21 removed, how many squadrons of mig 21 are there in the country now, how many aircraft are there in a squadron, russian fighter plane sukhoi-30 mki, air force got the first mig 21 in 1963, country lca mk-1as (tejas) built in
भारतीय वायुसेना ने सबसे पुराने लड़ाकू विमानों की एक स्क्वाड्रन को सेवानिवृत्त किया
15:23 31.10.2023 (अपडेटेड: 16:17 31.10.2023) भारतीय मीडिया ने भारतीय वायु सेना (IAF) के अधिकारियों के हवाले से बताया कि मिग-21 लड़ाकू विमानों की तीन शेष स्क्वाड्रनों में से एक को सेवानिवृत्त कर दिया है।
प्रत्येक स्क्वाड्रन में 16 से 18 लड़ाकू विमान होते हैं और मीडिया के अनुसार, इन लड़ाकू विमानों को चरणबद्ध तरीके से हटाया जा रहा है।
ये मिग-21 बाइसन राजस्थान के उत्तरलाई स्थित नंबर 4 स्क्वाड्रन के हैं। यह स्क्वाड्रन 1966 से मिग-21 का संचालन कर रही है और अब मिग-21 के जाने के बाद इसे रूसी लड़ाकू विमान सुखोई-30 MKI से फिर से सुसज्जित किया जा रहा है।
गुजरात के गांधीनगर स्थित
भारतीय वायु सेना की दक्षिण पश्चिमी वायु कमान के प्रवक्ता ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा कि बाइसन IAF का सबसे उन्नत मिग-21 संस्करण है।
“एक युग के अंत को चिह्नित करते हुए, मिग -21 बाइसन विमान को आखिरी बार राजस्थान के बाड़मेर जिले के उत्तरलाई के आसमान में देखा गया। इस अवसर को यादगार बनाने के लिए मिग-21 बाइसन ने Su-30 MKI के साथ उड़ान भरी,'' दक्षिण पश्चिमी वायु कमान के प्रवक्ता ने एक्स पर लिखा।
भारतीय वायु सेना को सोवियत मूल का पहला मिग-211963 में मिला था, जो पहला सिंगल-इंजन मिग-21 था। वायु सेना ने अपनी क्षमता में बढ़ोतरी करने के लिए 874 सुपरसोनिक लड़ाकू विमानों को शामिल किया जो वायु सेना की रीड़ बना।
इसके साथ भारतीय वायु सेना देश में निर्मित
LCA Mk-1As (तेजस) को अगले साल शामिल करेगी, इसका निर्माण भारतीय कंपनी हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) ने किया है।